Sheshendra Sharma
शेषेन्द्र शर्मा -
आधुनिक तेलुगु कविता के क्षेत्र में युग-चेतना के स्रष्टा और कान्तिद्रष्टा कवि शेषेन्द्र शर्मा (जन्म: 20 अक्तूबर, 1927) की तेलुगु साहित्य की सभी विधाओं में, अब तक लगभग 40 से अधिक कृतियाँ प्रकाशित हो चुकी हैं। 'ऋतुघोष', 'शेष ज्योत्स्ना', 'दहकता सूरज', 'समुद्र मेरा नाम', 'चीखता हुआ आदमी', 'मेरा रास्ता' आदि उनके प्रमुख काव्य संकलन हैं। 'मेरी धरती मेरे लोग' (ना देशम् ना प्रजालु) उनकी सर्वोत्कृष्ट कृति है।
कारयित्री और भावयित्री—दोनों प्रकार की प्रतिभाओं का अप्रतिम संगम शेषेन्द्र की सबसे बड़ी विशेषता है। 'षोडशी', 'स्वर्णहंस' जैसी आलोचनात्मक कृतियों में उनके गहन चिन्तन का दर्शन होता है।
देश-विदेश की भाषाओं में अनुवाद के माध्यम से शेषेन्द्र की रचनाओं का भव्य स्वागत हुआ है। ग्रीक भाषा में 'मेरी धरती मेरे लोग' का हाल ही में अनुवाद प्रकाशित हुआ है।