Vartika Nanda
मीडियाकर्मी, शिक्षक और चिन्तक महिला सशक्तीकरण के लिए जुझारू एम्बेसेडर। मीडिया साहित्य और अपराध को लेकर प्रयोग। भारत के राष्ट्रपति श्री प्रणव मुखर्जी से 2014 के अन्तर्राष्ट्रीय महिला दिवस पर स्त्री शक्ति पुरस्कार से सम्मानित।
बलात्कार और प्रिंट मीडिया की रिपोर्टिंग पर पीएच.डी.। दिल्ली विश्वविद्यालय के लेडी श्रीराम कॉलेज में पत्रकारिता का अध्यापन जी टीवी, एनडीटीवी, भारतीय जनसंचार संस्थान, नयी दिल्ली और लोकसभा टीवी से भी जुड़ी रहीं। भारतीय टेलीविज़न में अपराध बीट की प्रमुख पत्रकार।
ख़ास किताबें : तिनका तिनका तिहाड़-तिहाड़ की महिला क़ैदियों की कविताओं का अनूठा संग्रह, 2013 (बिमला मेहरा, आईपीएस के साथ सम्पादन)। थी. हूँ.. रहूँगी... घरेलू हिंसा पर देश का पहला कविता संग्रह (2012)। टेलीविज़न और क्राइम रिपोर्टिंग (2010) मीडिया पर चर्चित पुस्तक।
कला : उनका लिखा गाना-तिनका तिनका तिहाड़ क़ैदियों ने गाया। सीडी भी बनी। घरेलू हिंसा पर उनकी लघु फ़िल्म नानकपुरा कुछ नहीं भूलता भारत सरकार के महिला एवं बाल विकास मन्त्रालय के अलावा सीबीएसई के यूट्यूब चैनल का भी हिस्सा।
अन्य : लाडली मीडिया अवॉर्ड (2015), स्त्री शक्ति पुरस्कार (2014), यूथ आइकॉन अवॉर्ड (2013), ऋतुराज परम्परा सम्मान (2012), डॉ. राधाकृष्ण मीडिया अवॉर्ड (2012), भारतेन्दु हरिश्चन्द्र अवॉर्ड (2007) और सुधा पत्रकारिता सम्मान (2007)।
कविता में दख़ल : 2014 के जयपुर लिटरेरी फेस्टिवल और कटक लिटरेचर फेस्टिवल में आमत्रित। न्यू यॉर्क में अन्तर्राष्ट्रीय हिन्दी सम्मेलन (2014) और विश्व हिन्दी सम्मेलन, दक्षिण अफ्रीका में भागीदारी (2012)।